दुःखद हादसा ! स्कूल की छत गिरी ,मलबे में दबे 32 बच्चे , 7 की मौत
राजस्थान :- राजस्थान झालावाड़ जिले के मनोहरथाना क्षेत्र में शुक्रवार सुबह एक दर्दनाक हादसा हो गया. पीपलोदी गांव स्थित राजकीय उच्च प्राथमिक विद्यालय की छत अचानक गिर गई. इस मामले पर दांगीपुरा थाना अधिकारी विजेंद्र सिंह ने बताया कि जहां घटना हुई उसे कक्षा में 32 बच्चे मौजूद थे. सभी इसके नीचे दब गए थे. टीचर को भी इसमें चोट लगी है, हालांकि उन्हें एडमिट नहीं कराया गया है. घटनाक्रम में 7 बच्चों की मौत हो गई है, जबकि 25 का अस्पताल में इलाज चल रहा है. हादसे में चार बच्चों की मौके पर ही मौत हो गई. जबकि दो बच्चों की अकलेरा अस्पताल तथा एक बालिका की जिला अस्पताल में इलाज के दौरान मौत हो गई. इस हादसे में भाई-बहन की भी दर्दनाक मौत हो गई. छोटू लाल के पुत्र कान्हा की अकलेरा व 13 वर्षीय बालिका मीना बाई की जिला अस्पताल में मौत हो गई. पीएम मोदी ने और राष्ट्रपति ने झालावाड़ हादसे पर दुख जताया है.
हादसे में करीब 30 से ज्यादा बच्चे मलबे में दब गए और गंभीर रूप से घायल हो गए. जानकारी के अनुसार, बच्चे स्कूल पहुंचने के बाद प्रार्थना के लिए जा रहे थे, तभी स्कूल भवन का एक कमरा अचानक गिर गया. छत गिरने से बच्चे दब गए, जिन्हें ग्रामीणों और स्कूल स्टाफ की मदद से बाहर निकाला गया. दांगीपुरा थाना प्रभारी विजेंद्र कुमार ने जानकारी देते हुए बताया कि सभी बच्चों को मलबे से सुरक्षित निकाल लिया गया है. जिला प्रशासन, पुलिस और शिक्षा विभाग के वरिष्ठ अधिकारी मौके पर पहुंच चुके हैं. राहत और बचाव कार्य तेजी से चल रहा है.
7 बच्चों की मौत, कई घायल : सभी घायल छात्रों को मनोहरथाना के प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र (CHC) ले जाया गया, जहां डॉक्टरों ने चार बच्चों को मृत घोषित कर दिया. पुलिस उपाधीक्षक मनोहर थाना कैलाश चंद के अनुसार मृतक बच्चों की संख्या 7 पहुंच गई है.
शिक्षा मंत्री बोले होगी उच्च स्तरीय जांच : झालावाड़ जिले के पीपलोदी गांव के सरकारी स्कूल में हुए दर्दनाक हादसे की उच्च स्तरीय जांच की जाएगी. शिक्षा मंत्री मदन दिलावर ने इस घटना पर दुख व्यक्त करते हुए कहा कि पिपलोदी गांव के स्कूल से दुखद घटना के समाचार प्राप्त हुए हैं. विद्यालय की छत गिरने से कुछ बच्चे के मौके पर ही मौत की खबर मिली है, जबकि कुछ बच्चे घायल हुए हैं, उनका अस्पताल में इलाज चल रहा है. इसे लेकर जिला कलेक्टर और जिला शिक्षा अधिकारी को निर्देश दिए हैं कि सभी प्रकार की व्यवस्था की जाए. सभी बच्चों का इलाज सरकारी खर्चे पर हो और किसी भी प्रकार की परेशानी नहीं आए. उन्होंने कहा कि इस दुखद घटना की उच्च स्तरीय जांच कराई जाएगी कि वास्तव में ये दुर्घटना क्यों हुई, क्यों छत गिरी?. फिलहाल जिला कलेक्टर मौके पर पहुंच चुके हैं, उनके अलावा प्रारंभिक शिक्षा अधिकारी, माध्यमिक जिला शिक्षा अधिकारी और आसपास के सीबीईओ को मौके पर जाने की निर्देश दिए गए हैं कि वो वहां सारी स्थितियों को देखें और जो भी सहायता कर सकते हैं, वह करें।
Leave A Comment