करोड़ों खर्च कर जश्न मनाया, सरकार एक भी उपलब्धि नहीं गिना पाई
नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर ने कहा है कि दो साल के कार्यकाल के जश्न मनाने में सरकार ने 25 करोड़ रुपए से ज़्यादा फूंक दिए। लेकिन बताने के लिए एक भी उपलब्धि सरकार के पास नहीं थी। शिमला में एक प्रेस कांफ्रेंस में जयराम ठाकुर ने कहा कि दो साल का कार्यकाल सरकार की नाकामियों का दस्तावेज है।
नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि कांग्रेस के प्रभारी द्वारा जिस तरह की अपमानजनक भाषा का उपयोग किया जा रहा है वह भारतीय जनता पार्टी सहन नहीं करेगी। कांग्रेस प्रभारी अपने बयान के लिए सार्वजनिक रूप से माफी मांगे। उन्होंने कहा कि रैली में हर नेता अपना शक्ति प्रदर्शन करना चाह रहा था। उन्होंने कहा कि बीते कल जो मंच पर हुआ उसे पूरे प्रदेश ने देखा। एक महिला जो पार्टी की प्रदेश अध्यक्ष हैं उन्हें बोलने से रोका गया, उन्हें रोकने की वजह यही रही होगी कि कहीं वह सरकार का स्वयं ही भंडाफोड़ न कर दें। इसलिए उन्हें मंच पर ही अपना भाषण समाप्त करने के लिए पर्ची थमा दी गई। सरकार में लोगों के बोलने पर भी पहरा लगा दिया गया है। नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि मंच पर ऊंची आवाज में और घटिया तरीके से बोलने का कंपटीशन चल रहा था, इतना पैसा, समय और संसाधन खर्च करके पूरी सरकार ने सिर्फ़ विपक्ष को कोसने का ही काम किया।
मुकेश अग्निहोत्री सरकार में निराश व हताश
जयराम ठाकुर ने कहा कि उप मुख्यमंत्री जी इस समय बहुत हताश और निराश हैं। वह जो कुछ भी आज कल बोल रहे हैं, वह उनकी कुंठा के कारण हैं। सरकार में उनकी स्थिति क्या है वह स्वयं जानते हैं। वह पाँच साल नेता विपक्ष रहे और अब दो साल से उप मुख्यमंत्री होकर भी उनकी हालत विपक्ष जैसी है। इसलिए वह इस तरह की बातें कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि अगर मुकेश अग्निहोत्री में नैतिकता बची है, तो वह इस्तीफा दे दें। क्योंकि जिस समय वह मंच से चीख-चीख कर इस्तीफा देने का चैलेंज दे रहे थे,उस समय तक भी एचआरटीसी के पेंशनर्स की पेंशन नहीं आई थी। इसलिए उन्हें अपना इस्तीफा दे देना चाहिए।
कांग्रेस में अधिकारियों को धमकाने का चलन खत्म नहीं हो रहा
जयराम ठाकुर ने कहा कि मंच से अधिकारियों और पत्रकारों को धमकाने का चलन कांग्रेस में खत्म नहीं हो रहा है। आवाज उठाने वाले अधिकारियों और कर्मचारियों को विशेषाधिकार हनन का नोटिस देने और कारण बताओ नोटिस देकर डराना चाहते हैं। लेकिन उनकी धमकियों से प्रदेश के लोग डरने वाले नहीं हैं।
राज्यपाल को सौंपे कच्चे चिट्ठे पर कार्रवाई करे सरकार
जयराम ठाकुर ने कहा कि इधर उधर की बात करने के बजाय सरकार को चाहिए कि वह विपक्ष के सवालों और उन पर लग रहे भ्रष्टाचार के आरोपों का जवाब दे, क्योंकि राज्यपाल को सौंपे गए कच्चा चिट्ठा में सभी आरोपों को उचित कागजात के साथ दिया गया है। सरकार को चाहिए कि वह आगे आकर उन मामलों की जांच करवाए और जो भी दोषी हैं उन्हें सजा दे, नहीं तो यह माना जाएगा कि सब कुछ सरकार की शह पर ही हो रहा है। उन्होंने कहा कि सरकार विपक्ष द्वारा लगाए गए आरोपों से भाग नहीं सकती है। उसे शराब घोटाला, खनन घोटाला, सोलर प्रोजेक्ट घोटाला, पीडब्ल्यूडी घोटाला समेत सभी घोटालों के बारे में जवाब देना होगा।
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